लखनऊ 21 अगस्त: कुलपति के खिलाफ भ्रस्टाचार की काली करतूतों का खुलासा करने वाले बहुजन छात्र श्रेयात पर हमले मामले में एक नया मोड़ आ गया है अब कुलपति के खिलाफ उठ खड़े हुए छात्रो ने मांग की है कि जब तक हमलावरो की गिरफ्तारी नही होती है तब विवि बंद करने का एलान जारी रहेगा है। इस हमले को लेकर विवि में लगातार विरोध जारी है पुलिस मामले को लेकर जांच कर रही है। सुरक्षा के ऐतिहात से कैंपस मे पुलिस बल तैनात कर दिया गया है।
क्या है पूरा मामला:
BBAU और अमेठी कैम्पस में भ्रष्टाचार का खुलासा करने पर हुआ था हमला
बताया जाता है बाबासाहेब भीमराव अंबेडकर विवि लखनऊ के छात्र श्रेयात बौद्ध और अश्वनी रंजन पर प्रो कमल जायसवाल, ओम साईंनाथ आउट सोर्सिंग एजेंसी के ठेकेदार उपेन्द्र सिंह के द्वारा भेजे गए हमलावरों ने घात लगाकर टूट पड़े और धमकी देते हुए बोले कि बहुत बड़े नेता हो गए हो’ कह के श्रेयात बौद्ध, अश्वनी रंजन पर विवि के गेट न 3 पर ईंटों और पत्थरों से जानलेवा हमला कर दिया। जिनसे में अश्वनी रंजन अपनी जान बचाकर भागे। जिनमें श्रेयात बौद्ध को काफी गंभीरे चोटें आईं ।
उक्त छात्र विवि में प्रो कमल जायसवाल के द्वारा किये जा रहे महिलाओं के शोषण, भ्रष्टाचार, अनैतिक कार्यों के बारे में लगातार खुलासे करवाने में लगातार संघर्ष किया है। प्रो कमल जायसवाल के जातिवादी मानसिकता के कारण उन्हे प्रॉक्टर के पद से भी हटवाया था। जिसमें श्रेयात और अश्वनी रंजन अम्बेडकर यूनिवर्सिटी दलित स्टूडेंट्स यूनियन (AUDSU) के सक्रिय सदस्य भी हैं। AUDSU लगातार विवि के अंदर चल रही अराजकता को उजागर कर रहे थे।
उसके कुछ दिन बाद प्रो कमल जायसवाल ने कुछ दिनों बाद फिर श्रेयात सहित अन्य लड़कों को देख लेने की धमकी दी थी। जिनमें एक छात्र बसन्त कनौजिया को भी उपेन्द्र सिंह ने जान से मारने की धमकी दी थी।
उक्त आरोपित लोगों का इतने में ही मन नही भरा तो उन लोगों ने दिनांक 20 अगस्त 2017 को साँय 8: 45 के लगभग हॉस्टल के गेट न 3 के बाहर प्रो जायसवाल, ठेकेदार उपेन्द्र सिंह ने साजिश रचकर जानलेवा हमला करवाया।
हमला करने वाले लड़के कुछ लड़के विवि के अंदर के प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार ऋषि शुक्ला, सत्यम गुप्ता और शशांक तिवारी के इशारों पर ये हमला बाहर के 25 से 30 लड़कों के माध्यम से हुआ।
जिनमें से कुछ बाहरी और अंदर के लड़कों का विवि के अंदर प्रो कमल जायसवाल के ऑफिस में उठना बैठना था । जिससे उक्त छात्रों के अंदर भय का माहौल पैदा हो और वह विवि और अमेठी कैंपस के अंदर चल रही भ्रष्टाचार व अनैतिक गतिविधियों के खिलाफ कोई बोल न सके। इस हमले में विवि के अनुसूचित जाति के छात्रों में भय का माहौल व्याप्त है।
सामाजिक न्याय की लड़ाई लड़ रहे हैं छात्र श्रेयात:
आपको बता दें कि यूपी के लखनऊ में पीएचडी के दलित छात्र श्रेयात बौद्ध बाबा साहब भीमराव यूनिवर्सिटी लखनऊ में लगातार सामाजिक न्याय की लड़ाई लड़ रहे हैं। साथ ही वे यूनिवर्सिटी में हो रहे भ्रष्टाचार को सामने लाने के लिए प्रयत्नशील हैं। उन्हें पिछले साल सात अन्य छात्रों सहित निष्कासित कर दिया गया था। बाद में लंबी लड़ाई के बाद इन छात्रों का प्रवेश बहाल किया गया।