बाल संग्रहालय चारबाग में चल रहा लखनऊ पुस्तक मेला
लखनऊ, 29 मार्च। ‘रघु को खिलौने चाहिए थे तो वीरा को स्टोरी बुक्स, यहां दोनों की ख्वाहिश पूरी हो गयी’- कहना था दोनों की मां महिमा का। उन्नाव के स्कूल प्रबंधक रौशन ने बताया कि नई स्कूल के लिए चार्ट और बहुत सी क्वालिटी वाली सामग्री यहीं मेले में मिल गयी। ये उदगार उन लोगों के हैं जो यहां बाल संग्रहालय लान चारबाग में चल रहे लखनऊ पुस्तक मेला में खरीदारी के उद्देश्य से आए थे। मेले में प्रचुर बाल साहित्य और मनोरंजनात्मक खिलौनों के साथ बच्चों को रचनात्मक बनाने वाली सामग्री बहुत है।
ऋषि पब्लिकेशन के स्टॉल पर सुधामूर्ति की स्टोरी बुक, रस्किन बांड, पर्सी जैक्सन, हैरी पॉटर, वर्ल्ड शॉर्ट और घोस्ट स्टोरी मौजूद हैं। साइंस के इंसाइक्लोपीडिया, तेनालीराम, पंचतंत्र, प्रेमचंद की बाल कथाएं उपलब्ध हैं।
हिन्दी संस्थान के स्टॉल पर संस्थान की द्विमासिक बालवाणी पत्रिका, प्रेमचंद की कहानी, प्रेरक कहानी, महापुरुषों की जीवनियां, बालगीत साहित्य मौजूद है। मनीष बुक एजेंसी के बुक स्टाल पर बच्चों की कहानियों के अलावा नॉवेल आदि मौजूद हैं। तो जीनियस बुक के स्टॉल बच्चों के लिए वॉशेबिल बुक्स की लंबी शृंखला है। इंग्लिश, मैथ, हिन्दी, साइंस की बच्चों की स्टोरी बुक, मैथ, वर्णमाला के चार्ट्स सहित अन्य शिक्षण सामग्री मौजूद है।
लक्ष्मीनारायण बुक के पास पंचतंत्र, अकबर-बीरबल, जातक कथाएं, मुल्ला नसीरुद्दीन, शेख चिल्ली, तेनालीराम, हातिमताई, हितोपदेश, अलिफ-लैला, विक्रम-वेताल सहित अन्य पुस्तकें हैं। इसी तरह प्रकाशन विभाग की चिल्ड्रेन महाभारत-रामायण, पदमबुक एजेंसी पर कलरिंग, ड्राइंग एक्टिविटी की बच्चों की कई पुस्तकें व किशोरों के लिए नॉवेल हैं। बुकलैंड बुक्स के स्टॉल पर बाल एक्टिविटी, अकबर-बीरबल, रस्किन बांड, आरके नारायण, शेक्सपियर का आकर्षक शैली में प्रस्तुत लोकप्रिय बाल साहित्य हैं।
उठी कविताओं की गूंज, लहराया लोक नृत्य पुस्तक मेले में सुबह इनोवेशन फॉर चेंज की ओर से कार्यक्रम हुआ। एक भारत-श्रेष्ठ भारत थीम से हुए कार्यक्रम में बच्चों और युवाओं ने विभिन्न प्रांतों के लोक नृत्य, गायन से आनंदित किया। विशाल कनौजिया व हर्षित सिंह के निर्देशन मे हुई नृत्य प्रस्तुतियों में अभिषेक, मोहित, रुस्तम, करिश्मा, दीक्षा, परी, इशिका, जाह्नवी सहित अन्य ने हुनर दिखाये।
नवोदय साहित्यिक-सांस्कृतिक संस्था के भ्रमर बैसवारी की अध्यक्षता व डा.शिव मंगल सिंह के संचालन में चले कवि सम्मेलन में डा.कुसुम सिंह अविचल, राजीव वर्मा वत्सल व महेश प्रकाश अष्ठाना की मौजूदगी में आमंत्रित कवियों ने काव्यपाठ कर प्रशंसा पाई। जिसमें उमेश प्रकाश, विनोद भावुक, प्रेमशंकर शास्त्री बेताब, मनमोहन बाराकोटी, सरोज बाला, विभा प्रकाश व नीतू सिंह चौहान सहित अन्य ने कविता पाठ किया।
मेले के मंच पर शाम को कथाकार मनीष शुक्ल के संपादन में प्रकाशित व्यंग्य संग्रह ‘व्यंग्य यात्री 2022’ और डॉ.शिल्पी बख्शी शुक्ला के काव्य संग्रह ‘ज़िंदगी इतनी आसान नहीं’ का लोकार्पण डॉ.सूर्यकुमार पाण्डेय, महेन्द्र भीष्म व संजीव कुमार ‘संजय’ की उपस्थिति में किया गया। वक्ताओं ने काव्य और व्यंग्य के संगम को साहित्य धारा का नया प्रतीक बताया। मुख्य अतिथि डॉ.सूर्यकुमार पाण्डेय ने ‘व्यंग्य यात्री 2022’ पुस्तक पर चर्चा करते कहा कि व्यंग्य संग्रह ‘‘व्यंग्य यात्री 2022’ में एक से बढ़ कर एक चुटीले व्यंग्य हैं। सभी व्यंग्यकारों ने व्यंग्य विधा के साथ शत-प्रतिशत न्याय किया है।
डॉ.शिल्पी बख्शी शुक्ला का काव्य संग्रह ‘ज़िंदगी इतनी आसान नहीं’ जीवन की आपाधापी में पाठक के समक्ष कुछ सुकून के पल ले कर आता है। उनका प्रथम काव्य संग्रह है जिसमें उन्होंने जीवन के प्रति अपना दृष्किण और आम आदमी की जद्दोजहद को पेश किया है। इस दौरान अनूप शुक्ल, अनूपमणि त्रिपाठी, अरविंद तिवारी, अतुल मिश्र, अभिषेक अवस्थी, अलंकार रस्तोगी, आलोक पुराणिक, आभा बोधिसत्व, चिराग जैन, लव कुमार सिंह, डा.रवीन्द्र प्रभात, रवींद्र रंजन, आदि सहित्यप्रेमी मौजूद थे।