गौरैया संरक्षण की अपील, जगह लगाए गए घोसले
हैदरगढ़ बाराबंकी, 22 मार्च 2022: बीते रविवार को पंछी संरक्षण सेवा संस्थान द्वारा विश्व गौरैया दिवस पर जगह जगह घोसले लगाये जाने के साथ ही लोगों से गौरैया संरक्षण की अपील की गयी। पक्षी संरक्षण सेवा संस्थान के पदाधिकारियों ने कहा कि गर्म होते वातावरण में हमसे दूर भाग रही गौरैया को अपने बीच रखने के लिए हमें पर्याप्त घोसले बनाने होंगे उन्हें सुखद वातावरण उपलब्ध कराना होगा। खुली छतों पर कुछ लकडियां इस प्रकार से सजाना भी सुकून भरे परिणाम दे सकते है, जिसमें गौरैया अपना घोसला बना सके।
पदाधिकारियों ने कहा कि जब से शहरों में मोबाईल टावरों की संख्या कुकुरमुत्ते की तरह बढ़ चली है, तभी से हाऊस स्पेरों का जीवन संकट में पड़ गया है। मोबाईल टॉवरों से निकलने वाली तरंगों का दुष्परिणाम ही पक्षियों की कम हो रही संख्या के लिये जवाब देही है।
उन्होंने कहा कि वन विभाग अधिनियम के अंतर्गत बनाये गये वन्य प्राणी संरक्षण कानून की अनदेखी भी शिकारियों पर सख्ती नहीं कर पा रही है। गौरैया के अलावा तोतों को पकडकर बेचने वाले बहेलिये भी खले आम बाजार में अपना सौदा करते घूम रहे है, किंतु जंगल का कानून मौन है। कटते जंगल और बढ़ता तापमान भी पक्षी प्रजाति की छोटी गौरैया के लिये नकारात्मक वातावरण के रूप में सामने आ रहा है।
पर्यावरण को सहज बनाते हुये और मानवीय जीवन के साथ गौरैया जैसी चिड़िया का अस्तित्व बनाये रखने के लिये जरूरी है कि हम उनके घोसलों का संरक्षण प्रदान करें। साथ ही घोसले बनाकर उसमें सुविधापूर्ण जीवन यापन के लिये विलुप्त हो रही गौरैया को पानी से लेकर दाने की व्यवस्था उपलब्ध कराये जाने की जरूरत है।