दुनिया के कई देशों से आये बौद्ध भिक्षुओं ने महाकुम्भ में निकाली शोभायात्रा
प्रयागराज महाकुम्भ में दुनिया के कई देशों से आये बौद्ध भिक्षुओं ने बुद्धं शरणं गच्छामि,धम्मं शरणं गच्छामि,संघम् शरणम गच्छामि के संदेश को जन—जन तक पहुंचाने के उद्देश्य से बुधवार को शोभायात्रा निकाली। महाकुम्भ मेला क्षेत्र का सेक्टर 17 भगवान बुद्ध की करूणा हो,सम्राट अशोक अमर रहे के नारे से गूंज उठा।
शोभायात्रा महाकुम्भ मेला क्षेत्र के सेक्टर 17 के अखिल भारतीय संत समागम स्थल से अवधेशानंद गिरि महाराज के शिविर तक निकाली गयी। शोभायात्रा के माध्यम से बौद्ध भिक्षुओं ने यह संदेश दिया कि बौद्ध व सनातनी एक थे,एक हैं और एक रहेंगे। रास्ते में भगवान बुद्ध की करूणा हो,सम्राट अशोक अमर रहें। अमर रहे के गगनभेदी नारे लग रहे थे।
राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की अखिल भारतीय कार्यकारिणी के सदस्य इन्द्रेश कुमार ने कहा कि यह कार्यक्रम बौद्ध एवं सनातन के बीच राष्ट्रीय एवं अंतरराष्ट्रीय स्तर पर आपसी समन्वय, समता, समरसता, सद्दभाव एवं करुणा मैत्री विकसित करने के उद्देश्य से किया गया है। इन्द्रेश कुमार ने कहा कि हिंसा मुक्त,दंगा मुक्त,धर्मान्तरण मुक्त भारत बने। हम सब सुखी रहें। मानवता से परिपूर्ण राष्ट्र बने। हम एक रहेंगे तो सुरक्षित रहेंगे और दुनिया को अच्छाई का मार्ग दिखा सकेंगे।
शोभा यात्रा में बौद्ध की सभी परम्पराओं को मानने वाले बौद्ध भिक्षु,भंते व लामा शामिल रहे।नेपाल,भूटान,म्यामांर,श्रीलंका,तिब्बत,जापान,कोरिया,कंबोडिया,लाओस व वियतनाम समेत कई देशों के बौद्ध भिक्षु शामिल रहे।
शोभायात्रा में भंते बुद्ध प्रिय विश्व,भंते राजकुमार श्रावस्ती,भंते अवश्वजीत प्रतापगढ़,भिक्षुणी सुमेन्ता,भंते अनुरूद्ध कानपुर,भंते संघप्रिय रीवा मध्यप्रदेश,भंते बोधि रक्षित,भंते धम्म दीप औरैया,भंते बोधि रतन मैनपुरी व भंते संघ रतन शामिल रहे।
इस कार्यक्रम को जूना अखाड़े के आचार्य महामण्डलेश्वर स्वामी अवधेशानन्द गिरि,राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के अखिल भारतीय कार्यकारिणी के सदस्य इन्द्रेश कुमार,क्षेत्र प्रचारक अनिल,प्रान्त प्रचारक रमेश, निर्वासित तिब्बत की रक्षामंत्री गैरी डोलमा,धर्म संस्कृति संगम के राष्ट्रीय महासचिव राजेश लाम्बा, उत्तर प्रदेश के अध्यक्ष अरुण सिंह बौद्ध प्रमुख रूप से उपस्थित रहे।