लॉकडाउन का समय है ऐसे में कोरोना वायरस के खौफ और सरकार द्वारा जारी गाइड लाइन के चलते हर व्यक्ति घरों में कैद हैं इलाकों में सूनापन देखकर जंगल के जानवर खुली सड़क पर चलकदमी कर रहे हैं एक ऐसा ही मामला यूपी के लखीमपुर से है बताया जाता है कि इस दौरान लखीमपुर धौरहरा रेंज में घाघरा नदी के कछार में भेड़ियों का आहट बढ़ गयी है। सूत्रों के अनुसार सिसैया चौराहे से लेकर जालिमनगर पुल और लहरपुर के एरिया में ढाई सौ से पौने तीन सौ तक भेड़ियों के होने का अंदेशा है। और दिन से लेकर रात तक आवाजें निकालते रहते हैं, ये भेड़िये अक्सर आक्रमक हो जाते हैं इसलिए कभी भी मानव आबादी के लिए खतरनाक हो सकते हैं।
फिलहाल डीडी बफरजोन डॉ. अनिल पटेल ने डब्ल्यूडब्ल्यूएफ को भेडियों की गणना के लिए एक भेजा पत्र भेजा है। इससे इनकी लोकेशन भी पता चल सकेगी।
बता दें कि भेड़ियों के मूवमेंट वाला इलाका बहराइच में स्थित कतर्निया घाट वन्यजीव विहार से सटा हुआ है। इस इलाके में तेंदुओं की चहलकदमी भी आये दिन बनी रहती है।
एक मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार अधिकारियों का कहना है कि इन दिनों खेतों में गन्ने की पौध छोटी है और भेडिये जंगल के बाहर इन खेतों में घूम रहे हैं। ऐसे में किसानों का खेतों में जाना परेशानी में डालने वाला हो सकता है।
बता दें कि भेड़ियों की गणना के लिए अधिकारियों ने घाघरा के किनारे उन स्थानों को भी चिंहित कर लिया है, जहां भेड़ियों की मौजूदगी ज्यादा है। इस संबंध में ग्रामीणों से भी मदद ली गई है।
इस सम्बन्ध में डॉ. अनिल पटेल, डीडी बफरजाना ने मीडिया से कहा कि डब्ल्यूडब्ल्यूएफ गणना का कार्य करेगा। इस समय दुधवा में फेज फोर के लिए बाघों की गणना चल रही है। उसके बाद कैमरे लगाकर धौरहरा में भेडियों की गणना कराई जाएगी। इसके लिए घाघरा नदी के कछार को चिहित कर लिया है।